अलंकार/कक्षा: 8
अलंकार
प्रश्न 1: अलंकार किसे कहते हैं?
उत्तर: काव्य की सुंदरता बढ़ाने वाले तत्वों को अलंकार कहते हैं।
प्रश्न 2: हिंदी में अलंकार के मुख्यतः कितने भेद माने गए हैं? उनके नाम लिखिए:
उत्तरः हिंदी में अलंकारों के मुख्यतः दो भेद माने गए हैं --
(क) शब्दालंकार और (ख) अर्थालंकार
(क) शब्दालंकार और (ख) अर्थालंकार
प्रश्न 3: शब्दालंकार किसे कहते हैं? इसके कुछ भेदों के नाम लिखिए।
उत्तर: जहाँ अक्षर अथवा शब्दों के चमत्कारपूर्ण प्रयोग से काव्य पंक्ति की सुंदरता में वृद्धि होती है और चमत्कार आ जाता है, उसे शब्दालंकार कहते हैं।
शब्दालंकार के कई भेद होते हैं, जैसे -- (क) अनुप्रास अलंकार, (ख) यमक अलंकार, (ग) श्लेष अलंकार आदि।
प्रश्न 4: अनुप्रास अलंकार किसे कहते हैं? उदाहरण सहित लिखिए।
उत्तर: जिस काव्यपंक्ति में व्यंजनों की पुनरावृत्ति के कारण काव्य में चमत्कार उत्पन्न होता है, वहाँ अनुप्रास अलंकार होता है। जैसे --
(i) कालिंदी कुल कदंब की डारन
(ii) रघुपति राघव राजा राम
(iii) कानन कुंडल कुंचित केशा
(iv) विमल वाणी ने वीणा ली कमल कोमल कर में प्रतीत
(v) संसार की समरस्थली में धीरता धारण करो
(i) कालिंदी कुल कदंब की डारन
(ii) रघुपति राघव राजा राम
(iii) कानन कुंडल कुंचित केशा
(iv) विमल वाणी ने वीणा ली कमल कोमल कर में प्रतीत
(v) संसार की समरस्थली में धीरता धारण करो
प्रश्न 5: यमक अलंकार किसे कहते हैं? उदाहरण सहित लिखिए।
उत्तर: किसी काव्यपंक्ति में जब एक शब्द का प्रयोग दो बार होता है, परंतु दोनों बार उसके अर्थ अलग-अलग होते हैं, तब वहाँ यमक अलंकार होता है। जैसे --
(i) मोहन के उर बसी ह्वै उरबसी समान
(ii) कर का मन का डारी दे, मन का मनका फेर
(iii) काली घटा का घमंड घटा
(iv) जे तीन बेर खाती थीं, वे तीन बेर खाती हैं
(v) कहै कवि बेनी, बेनी व्याल की चुराई लीनी
प्रश्न 6: श्लेष अलंकार किसे कहते हैं? उदाहरण सहित लिखिए।
उत्तरः 'श्लेष' का अर्थ है -- 'चिपकना'।
जिस काव्य पंक्ति के किसी एक ही शब्द में दो या दो से अधिक अर्थ चिपके हों, वहाँ श्लेष अलंकार होता है। जैसे --
(i) मंगन को देख पट देत बार बार
(ii) सुबरन को ढूँढत फिरत कवि, व्यभिचारी, चोर
(iii) मेरे मानस के मोती
(iv) जो रहीम गति दीप की, कुल कपूत गति सोय।
बारै उजियारो करै, बढै अँधेरो होय।।
(v) रहिमन पानी राखिए, बिन पानी सब सून।
पानी गए न ऊबरे, मोती मानुस चुन।।
प्रश्न 7: अर्थालंकार किसे कहते हैं? इसके कुछ भेदों के नाम लिखिए।
उत्तरः जब शब्दों के अर्थ से काव्य पंक्ति में आकर्षण उत्पन्न हो तो उसे अर्थालंकार कहते हैं। अर्थालंकार में शब्द के बजाय अर्थ के कारण चमत्कार उत्पन्न होता है।
अर्थालंकार के कुछ भेद हैं --
(i) उपमा अलंकार, (ii) रूपक अलंकार, (iii) उत्प्रेक्षा अलंकार,
(iv) अतिशयोक्ति अलंकार आदि।
प्रश्न 8: उपमा अलंकार किसे कहते हैं? उदाहरण सहित लिखिए।
उत्तर: जहाँ किसी एक वस्तु अथवा प्राणी की तुलना अत्यंत सादृश्य के कारण अन्य किसी प्रसिद्ध वस्तु या प्राणी से की जाए, वहाँ उपमा अलंकार होता है। जैसे --
(i) पीपर पात सरिस मन डोला
(ii) वह दीपशिखा-सी शांत भाव में लीन
(iii) सिंधु-सा विस्तृत है अथाह एक निर्वासित का उत्साह
(iv) हरिपद कोमल कमल-से
(v) मुख बाल रवि सम लाल होकर ज्वाल-सा बोधित हुआ
प्रश्न 9: रूपक अलंकार किसे कहते हैं? उदाहरण सहित लिखिए।
उत्तर: जहाँ गुणों की अत्यंत समानता के कारण दो वस्तुओं में(उपमेय और उपमान में) अभेद आरोपित कर दिया जाता है, वहाँ रूपक अलंकार होता है। जैसे --
(i) चरण-कमल बंदौं हरिराई
(ii) मैया मैं तो चंद्र-खिलौना लैहौं
(iii) पायो जी मैंने राम रतन-धन पायो
(iv) मन-सागर मनसा-लहरी बूडे बहे अनेक
(v) गोपी पद-पंकज पावन की रज जायैं सिर भीजैं
प्रश्न 10: अतिशयोक्ति अलंकार किसे कहते हैं? उदाहरण सहित लिखिए:
उत्तरः जहाँ किसी गुण या स्थिति का बढ़ा-चढ़ा कर वर्णन किया जाए, वहाँ अतिशयोक्ति अलंकार होता है। जैसे --
(i) हनुमान की पूँछ में लग न पाई आग
सारी लंका जल गई गए निशाचर भाग।
(ii) देख लो साकेत नगरी है यही
स्वर्ग से मिलने गगन में जा रही।
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