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अनुच्छेद लेखन/कक्षा-नौ

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  अनुच्छेद लेखन आलस्यः हमारा सबसे बड़ा शत्रु आलस्य दुख, दरिद्रता, रोग, परतंत्रता, अवनति आदि का जनक है। आलस्य के रहते हुए मनुष्य कभी विकास नहीं कर सकता। उसके ज्ञान में वृद्धि का प्रश्न ही नहीं उठ सकता। आलस्य को राक्षसी प्रवृत्ति की पहचान कहा जाता है। स्वास्थ्य की दृष्टि से प्रातः काल की शुद्ध हवा अत्यंत आवश्यक है। आलसी व्यक्ति इस हवा का आनंद तक नहीं उठा पाते। प्रातः कालीन भ्रमण एवं व्यायाम के अभाव में उनका शरीर रोगग्रस्त हो जाता है। आलसी विद्यार्थी पूरा वर्ष सोकर गुजारता है और परिणाम आने पर सब से आँखें चुराने लगता है। आलस्य मनुष्य की इच्छा शक्ति को कमजोर बना कर उसे असफलता के गर्त में धकेल देता है। आलसी को छोटे से छोटा काम भी पहाड़ के समान कठिन लगने लगता है। वह इससे छुटकारा पाने के लिए तरह-तरह के बहाने तलाशने लगता है। आलस्य का त्याग करने से मनुष्य को अपने लक्ष्य को निश्चित समय में प्राप्त करने में सफलता मिलती है। जीवन में वही व्यक्ति सफलता प्राप्त कर सकता है, जो आलस्य को पूरी तरह त्याग कर कर्म के सिद्धांत को अपना ले। इस प्रकार मनुष्य का सबसे बड़ा शत्रु आलस्य ही है। यह मनुष्य को पतन के मा

पुनरावृत्ति/क्षितिज-9

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  पुनरावृत्ति प्रश्न 1: 'दो बैलों की कथा' के आधार पर बैलों के स्वभाव की विशेषताएँ बताइए:  उत्तर : 'दो बैलों की कथा' के आधार पर बैलों के स्वभाव की विशेषताएँ निम्नलिखित हैं: (i) बैल सामान्यतः सीधे, सरल और सहनशील प्रकृति के होते हैं। (ii) अत्याचार होने पर अथवा किसी बात से असंतुष्ट होने पर वे पलट कर वार भी करते हैं। (iii) कभी-कभी सहनशीलता त्यागकर वे अड़ियल रुख भी अपनाते हैं।  प्रश्न 2: फ्रीडा अपने पति के बारे में कुछ भी लिख पाने में असमर्थ क्यों महसूस कर रही थी? उत्तर : फ्रीडा को ऐसा लगता था कि उनके पति के बारे में उनसे ज्यादा उनकी छत पर बैठने वाली गौरैया जानती है, क्योंकि उनके पति डी. एच. लॉरेंस का प्रकृति से बहुत गहरा लगाव था और सघन संबंध भी। फ्रीडा को लगता था कि उनके पति लॉरेंस का जितना समय प्रकृति एवं पक्षियों के बीच बीता है, उनके साथ नहीं। प्रश्न 3: उपभोक्तावादी संस्कृति ने पुरुषों को भी प्रभावित किया है। कैसे? उत्तर : उपभोक्तावादी संस्कृति के प्रभाव में आकर पुरुष भी सौंदर्य प्रसाधन के इस्तेमाल में महिलाओं से बहुत पीछे नहीं हैं। वे भी सौंदर्य एवं प्रसाधन सामग्रियों पर

प्रश्नोत्तरी/क्षितिज(कक्षा-नौ)

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प्रश्नोत्तरी प्रश्न: निम्नलिखित प्रश्नों के संक्षिप्त उत्तर दीजिए: (i) किस तरह के आदमी को गधे की संज्ञा दी जाती है?  उत्तर : बिल्कुल बुद्धिहीन आदमी को (ii) 'उसे मार गिराते तो दुनिया क्या कहती?'-- यह पंक्ति किसकी है?  उत्तर : हीरा की (iii) अगर ईश्वर ने दोनों बैलों को वाणी दी होती, तो वे झूरी से क्या कहते? (क) तुम हम गरीबों को क्यों निकाल रहे हो? (ख) हमसे और ज्यादा मेहनत से काम ले लेते (ग) हम तुम्हारी चाकरी में ही मर जाना पसंद करते  (घ) उपर्युक्त सभी  उत्तर : उपर्युक्त सभी (iv) 'ल्हासा की ओर' पाठ के आधार पर बताइए कि लेखक को लंकोर पहुँचने में देरी क्यों हुई? ( क) लेखक का घोड़ा बहुत धीमे चल रहा था (ख) लेखक ने घोड़े को धमकाया नहीं  (ग) लेकर गलत रास्ते पर चला गया था  (घ) उपर्युक्त सभी उत्तरः उपर्युक्त सभी (v) लेखक चाय पीने के लिए कहाँ ठहरा? उत्तर : एक उपेक्षित छोड़े गए परित्यक्त चीनी किले में (vi) तिब्बत में डाँड़ों के गाँवों में डाकुओं को कोई भय क्यों नहीं था ?  उत्तर : क्योंकि वहाँ उन्हें पुलिस का कोई खतरा नहीं था (vii) 'साँवले सपनों की याद' पाठ के आधार पर बताइए कि

व्याकरण प्रश्नोत्तरी/कक्षा-नौ

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  व्याकरण प्रश्नोत्तरी प्रश्न 1: 'अपमान' शब्द में कौन-सा  उपसर्ग प्रयुक्त हुआ है? उत्तर : अप प्रश्न 2: उपसर्ग क्या है? उत्तरः शब्द के पूर्व में जोड़े जाने वाले अविकारी शब्दांश  प्रश्न 3:  'दुर्दिन' में कौन-सा उपसर्ग है?  उत्तर : दुर् प्रश्न 4: 'संभाषण' शब्द में प्रयुक्त उपसर्ग व मूल शब्द अलग कीजिए: उत्तर : सम्+भाषण प्रश्न 5: 'भारतीय' शब्द में कौन-सा प्रत्यय प्रयुक्त हुआ है?       उत्तर : ईय प्रश्न 6: 'नमकीन' शब्द में प्रयुक्त प्रत्यय छाँटिए:           उत्तर : ईन प्रश्न 7: 'पंडित' शब्द में कौन-सा प्रत्यय लगाने से उसका स्त्रीलिंग शब्द बनेगा? उत्तर : आइन प्रश्न 8: 'पाठक' शब्द में कौन-सा प्रत्यय है? उत्तर : अक प्रश्न 9: 'जय' शब्द के साथ कौन-सा उपसर्ग लगाने से वह 'जय' शब्द का विलोम शब्द बनेगा?   उत्तर : परा प्रश्न 10: 'नौकरानी' में प्रयुक्त प्रत्यय है--  उत्तर : आनी प्रश्न 11: 'शीतोष्ण' का समास विग्रह है: उत्तर : शीत और उष्ण  प्रश्न 12: 'चक्र है पाणि में जिसके अर्थात कृष्ण' में कौन-सा समास है? उ

मैं क्यों लिखता हूँ?/अज्ञेय

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  मैं क्यों लिखता हूँ?/ अज्ञेय  प्रश्न 1: लेखक के अनुसार प्रत्यक्ष अनुभव की अपेक्षा अनुभूति उनके लेखन में कहीं अधिक मदद करती है, क्यों? उत्तर : लेखक की मान्यता है कि सच्चा लेखन भीतरी विवशता से पैदा होता है। यह विवशता मन के अंदर से उपजी अनुभूति से जागती है, बाहर की घटनाओं को देखकर नहीं जागती। जब तक कवि-लेखकों  का हृदय किसी अनुभव के कारण पूरी तरह संवेदनशील नहीं होता और उसकी भावनाओं में अभिव्यक्त होने की पीड़ा पैदा नहीं होती, तब तक वह कुछ लिख नहीं पाता। प्रश्न 2: लेखक ने अपने आप को हिरोशिमा के विस्फोट का भोक्ता कब और किस तरह महसूस किया?  उत्तरः लेखक एक दिन जापान के हिरोशिमा नगर की एक सड़क पर घूम रहा था। अचानक उसकी नजर एक पत्थर पर पड़ी, जिस पर एक मानव की छाया छपी हुई थी। वास्तव में परमाणु विस्फोट के समय कोई मनुष्य उस पत्थर के पास खड़ा होगा। रेडियम धर्मी किरणों ने उस आदमी को भाप की तरह उड़ाकर उसकी छाया पत्थर पर डाल दी होगी। उसे देखकर लेखक के मन में अनुभूति जग गई।  उसके मन में विस्फोट का प्रत्यक्ष दृश्य साकार हो उठा और लेखक  स्वयं को उस घटना का भोक्ता महसूस करने लगा। प्रश्न 3: 'मैं क्यो

संस्कृति/ भदंत आनंद कौसल्यायन

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        संस्कृति/ भ दंत आनंद कौसल्यायन प्रश्न 1: लेखक की दृष्टि में 'सभ्यता' और 'संस्कृति' की सही समझ अब तक क्यों नहीं बन पाई है? उत्तर : लेखक की दृष्टि में 'सभ्यता' और 'संस्कृति' शब्दों की सही समझ अब तक इसलिए नहीं बन पाई है, क्योंकि हम इन दोनों बातों को एक ही समझते हैं या एक दूसरे में मिला लेते हैं। अक्सर इन दोनों शब्दों के साथ हम अनेक विशेषण भी लगा देते हैं। तब तो इनका अर्थ और भी अस्पष्ट हो जाता है। यह जानना जरूरी है कि क्या यह एक ही चीज है अथवा दो अलग चीजें हैं। और यदि दो हैं तो दोनों में अंतर क्या है? तभी सही बात समझ में आएगी। प्रश्न 2: आग की खोज एक बहुत बड़ी खोज क्यों मानी जाती है? इस खोज के पीछे रही प्रेरणा के मुख्य स्रोत क्या रहे होंगे? उत्तरः आग की खोज मनुष्य की सबसे बड़ी आवश्यकता की पूर्ति करती है और इसने मानव सभ्यता को नई दिशा दी है।   आग की खोज के पीछे पेट की ज्वाला अथवा भूख मिटाने की प्रवणता प्रेरणा रही होगी। प्रकाश तथा गर्मी पाने की प्रेरणा भी मिली होगी। जब मांस को अथवा अपने आहार को भूनकर खाने से स्वाद और स्वास्थ्य दोनों मिला होगा, तब मनुष्
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प्रश्न: निम्नलिखित प्रश्नों के संक्षिप्त उत्तर दीजिए: (i) किस तरह के आदमी को गधे की संज्ञा दी जाती है?  उत्तर : बिल्कुल बुद्धिहीन आदमी को (ii) 'उसे मार गिराते तो दुनिया क्या कहती?'-- यह पंक्ति किसकी है?   उत्तर : हीरा की (iii) अगर ईश्वर ने दोनों बैलों को वाणी दी होती, तो वे झूरी से क्या कहते? (क) तुम हम गरीबों को क्यों निकाल रहे हो? (ख) हमसे और ज्यादा मेहनत से काम ले लेते (ग) हम तुम्हारी चाकरी में ही मर जाना पसंद करते  (घ) उपर्युक्त सभी  उत्तर : उपर्युक्त सभी (iv) 'ल्हासा की ओर' पाठ के आधार पर बताइए कि लेखक को लंकोर पहुँचने में देरी क्यों हुई? (क) लेखक का घोड़ा बहुत धीमे चल रहा था (ख) लेखक ने घोड़े को धमकाया नहीं  (ग) लेकर गलत रास्ते पर चला गया था  (घ) उपर्युक्त सभी उत्तरः उपर्युक्त सभी (v) लेखक चाय पीने के लिए कहाँ ठहरा? उत्तर : एक उपेक्षित छोड़े गए परित्यक्त चीनी किले में (vi) तिब्बत में डाँड़ों के गाँवों में डाकुओं को कोई भय क्यों नहीं था?   उत्तर : क्योंकि वहाँ उन्हें पुलिस का कोई खतरा नहीं था (vii) 'साँवले सपनों की याद' पाठ के आधार पर बताइए कि सालिम अली की
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  Great Minds on India पुस्तक को जर्मन संस्करण विमोचन मेघालय का माननीय मुख्यमंत्री Shri Conrad Sangma ले हालै सलिल ज्ञवालीज्यू कृत Great Minds on India पुस्तकको जर्मन संस्करण विमोचन गर्नु भएको छ। उक्त अवसरमा राज्यका कला र संस्कृति विभागका मंत्री Shri Sanbor Sullai को पनि उपस्थिति थियो। लगभग बीस वर्ष लामो साधनामय अनुसंधानको परिणाम, ज्ञवालीज्यू को यो कृति पहिले नै तेह्र देशी-विदेशी भाषा हरूमा अनुदित भई सकेको छ। यसको जर्मन संस्करणको अनुवाद गर्नु भएको छ Overath, Germany निवासी Cardine Hagen ले। Cologne स्थित योग केंद्रमा पहिलो पल्ट उहाँका आँखा यो किताबमाथि परेका हुन। किताबका पाना पल्टाउँदै जाँदा  किताबका विभिन्न विषयवस्तु र विशेष गरी Johann Goethe, Albert Einstein, Harman Hesse, Arthur Schopenhauer जस्ता विश्वप्रसिद्ध मनीषीहरुले भारतीय ज्ञान र  अनुसंधानका संबंधमा गरेका गहकिला भनाईहरुले उहाँलाई मनग्गे आकर्षित गर्यो। पुस्तक की अनुवादक Ms Cardine एकजना ठुलो योग अनुरागी हुनुहुन्छ। उहाँले भारतको भ्रमण पनि गरी सक्नु भएको छ। उहाँ भन्नुहुन्छ-- "ज्ञवालीज्यू को यो पुस्तकको अनुवाद गर्ने मेरो प्र
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                   लघु कथा लेखन लघु कथा लेखन Examples रुपरेखा के आधार पर लघु कहानियों के कुछ उदाहरण – 1. संकेत – (दो भाई घर में अकेले, फाइल में आतंकियों की जानकारी, आतंकियों का घर में घुसना, फ़ाइल ढूंढ़ना, कमरे में बंद, आतंकी गिरफ्तार) चतुर अर्जुन एक दिन अर्जुन और उसका छोटा भाई करण दोनों घर में अकेले थे। उनके पिताजी एक पुलिस अधिकारी थे। वे एक लाल रंग की फाइल घर लाए थे। उसमें सभी कुख्यात आतंकवादियों के बारे में जानकारी थी। अर्जुन जानता था कि पापा ने वह फाइल एक अलमारी में सुरक्षित रखी हुई है। अर्जुन और करण खेल रहे थे कि तभी दो आतंकवादी उनके घर में घुस आए और बोले, “लाल फाइल कहाँ है?” अर्जुन बड़ा चालाक था। वह बोला, “शयनकक्ष की अलमारी में ऊपर रखी गई है। मैं वहाँ तक नहीं पहुँच सकता।” दोनों आतंकवादी लाल फाइल को हासिल करने के लिए उस कमरे में गए। जब वे अलमारी में फाइल ढूँढ रहे थे, तब अर्जुन ने धीरे-से उस कमरे का दरवाजा बाहर से बंद कर दिया और पिताजी को भी फोन कर दिया जल्दी ही उसके पिताजी पुलिस लेकर वहाँ पहुँच गए। दोनों आतंकवादियों को गिरफ्तार कर लिया गया। इस प्रकार अर्जुन ने अपनी चतुराई से दोनों