मैं धूल का कण जिस दिन बिछड़ूँ मैं, इस तन से उड़ जाऊँ, क्या खोएगा विश्व, कोई रत्न गवाऊँ? मेरा होना-न होना, यह बात छोटी-सी, कौन जानेगा कितनी, इस जग की गति-सी? मैं चला जाऊँ, फिर भी दिन-रात गाएगा, चाँद-सूरज का रथ उसी पथ नाच आएगा; फूल हँस-हँस खिलेंगे, पवन गीत सुनाएगी, तारों की टोली अपनी राह पर जाएगी। जैसा आज, वैसा कल, जग का क्रम अटल, न संशय का छींटा, न मन में कोई विह्वल; विश्व के नियम अडिग, न कभी डगमगाते हैं, मेरे बिना भी सदा, वे गीत गुनगुनाते हैं। मेरे न रहने से, न रुकेगा कोई काम, सृष्टि की धारा बहे, न थमे उसका धाम; कर्म में लीन यह विश्व, अनंत, अथाह, सुंदर, मेरे जाने की खबर न पाएगा यह मंदर। धूल की अनंत रज में, मैं कण एक तुच्छ-सा, नन्हा-मुन्ना, हल्का-सा, बस स्वप्न-सा चटक-सा; मेरे बिना भी सृष्टि, रहेगी पूर्ण, रमणीया, न होगी कमी कभी, न टूटेगा यह तमाशा।
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प्रश्नोत्तर (व्याकरण)
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1: शब्द और पद प्रश्न 1: सार्थक वर्ण समूह को क्या कहा जाता है? उत्तर : शब्द प्रश्न 2: जब शब्दों को वाक्य में स्थान मिलता है, तो ये क्या कहलाते हैं? उत्तर : पद प्रश्न 3: नाम का बोध कराने वाले शब्द क्या कहलाते हैं? उत्तर : संज्ञा प्रश्न 4: संज्ञा के कितने भेद होते हैं? उनके नाम लिखिए। उत्तर : संज्ञा के तीन भेद होते हैं। उनके नाम हैं -- (i) जातिवाचक संज्ञा, (ii) व्यक्तिवाचक संज्ञा और (iii) भाववाचक संज्ञा। प्रश्न 5: गौतम बुद्ध, ऐरावत, काठमांडू, हिमालय, बागमति --- आदि किस संज्ञा के उदाहरण हैं? उत्तर : व्यक्तिवाचक संज्ञा प्रश्न 6: शहर, पहाड़, देश, नदी, किताब -- आदि किस संज्ञा के उदाहरण हैं? उत्तर : जातिवाचक संज्ञा प्रश्न 7: सच्चाई, बचपन, मोटापा, शीतलता, ईमानदारी -- किस संज्ञा के उदाहरण हैं? उत्तर : भाववाचक संज्ञा प्रश्न 8: जो शब्द संज्ञा के स्थान पर प्रयुक्त होते हैं, वे कौन से पद होते हैं? उत्तर : सर्वनाम प्रश्न 9: सर्वनाम के कितने भेद होते हैं? उनके नाम लिखिए। उत्तर : सर्वनाम के 6 (छह) भेद होते हैं। उनके नाम हैं -- (i) पुरुषवाचक सर्वनाम (!!) निश्...
साना साना हाथ जोड़ि.../मधु काँकरिया
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साना साना हाथ जोड़ि... ---मधु काँकरिया प्रश्न 1: झिलमिलाते सितारों की रोशनी में नहाया गंतोक लेखिका को किस तरह सम्मोहित कर रहा था? उत्तर : गंतोक शहर की एक झलक ने ही लेखिका को सम्मोहित कर लिया था। रात्रि के समय जगमगाते प्रकाश के कारण शहर अत्यंत सुंदर नजर आ रहा था। ऐसा लग रहा था जैसे आकाश के सारे तारे नीचे बिखर कर जमीन पर टिमटिमा रहे हैं। तराई में तारों के गुच्छों की झालर-सी लटकती दिखाई दे रही थी। प्रश्न 2: गंतोक को 'मेहनतकश बादशाहों का शहर' क्यों कहा गया? उत्तर : गंतोक को सुंदर बनाने में यहाँ के श्रमिक वर्ग के साथ-साथ यहाँ के परिश्रमी निवासी, पुरुष-महिला आदि सभीका काफी योगदान है। उन्हीं के श्रम के बल पर सिक्किम और गंतोक को अद्भुत सुंदरता मिली है। इसलिए लेखिका ने गंतोक को 'मेहनतकश बादशाहों का शहर' कहा है। प्रश्न 3: कभी श्वेत तो कभी रंगीन पताकाओं का फहराना किन अलग-अलग अवसरों की ओर संकेत करता है? उत्तर : बौद्ध धर्म के लोगों द्वारा...
आत्मकथ्य/जयशंकर प्रसाद
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आत्मकथ्य --जयशंकर प्रसाद प्रश्न 1: कवि आत्मकथा लिखने से क्यों बचना चाहता है? उत्तरः कवि आत्मकथा लिखने से इसलिए बचना चाहता है क्योंकि वह सोचता है कि उसके जीवन में ऐसा कुछ विशेष घटित नहीं हुआ है, जिसे वह आत्मकथा के रूप में प्रस्तुत कर सके अथवा जिसे पढ़कर किसी को प्रेरणा और आनंद मिले। कवि अपने जीवन की दुर्बलता एवं असफलता और दूसरों की प्रवंचनाओं को सबके सामने उजागर करना नहीं चाहता। प्रश्न 2: आत्मकथा सुनाने के संदर्भ में 'अभी समय भी नहीं' कवि ऐसा क्यों कहता है? उत्तर : कवि जीवन की पीड़ा, व्यथा और दुख-कष्टों को सहन करते हुए थक चुके हैं। वे उनका वर्णन करने को अनिच्छुक एवं असमर्थ हैं। आत्मकथा लिखते वक्त उन सभी पीड़ाओं को उन्हें फिर जगाना होगा, जो उनके लिए असहनीय है। इसलिए कवि कहना चाहते हैं कि आत्मकथा सुनाने का यह उचित समय नहीं है। प्रश्न 3: स्मृति को 'पाथेय' बनाने से कवि का क्या आशय है? उत्तरः कवि के निराश जीवन में आज न तो कोई सुख बचा है और न ही कोई आशा। अतीत की मधुर यादें तथा प्रियतमा के संग व्यतीत किए गए क्षणों की मधुर स्म...
कृष्ण लीला
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कृष्ण लीला (1) मथुरा कारागार में श्रीकृष्ण जन्म और गोकुल में स्थानांतरण प्रसंग (कारागार में दैवीय चमत्कार -- अँधेरा -- कारागार की सलाखें -- बेड़ियों में जकड़े वसुदेव और देवकी -- मूसलधार वर्षा -- बिजली की गड़गड़ाहट -- पृष्ठभूमि में यमुना नदी का प्रवाह ध्वनि -- कंस के सैनिकों की भारी पदचाप ध्वनि) देवकी: (कारागार में शोक भरे स्वर में) हे वसुदेव! कंस ने एक-एक कर हमारे सात पुत्रों को मार डाला। मेरे गर्भ में पल रहे इस आठवें पुत्र का भी क्या वही भाग्य होगा? मेरे हृदय में भारी भय हो रहा है, स्वामी! वसुदेव: (सांत्वना देते हुए) धैर्य रखो, देवकी! आकाशवाणी याद करो। ईश्वर ने हमें आश्वासन दिया है। आठवीं संतान कोई साधारण पुत्र नहीं होगा। वह हमारी ही नहीं संपूर्ण धरती का उद्धारकर्ता होगा। [मंच पर मधुर ध्वनि -- भारी वर्षा की आवाज -- कारागार में सौम्य नीला प्रकाश -- श्रीकृष्ण का चतुर्भुज स्वरूप में जन्म -- शंख, चक्र, गदा, पद्म लिए चतुर्भुज रूप में श्रीकृष्ण का प्रकट होना] देवकी: हे प्रभु! हम तो आप के शिशु रूप की प्रतीक्षा कर रहे थे। यह कैसा चमत्कार! हम कारागार में लंबे समय से बंदी हैं। ...
स्मृति/-- श्रीराम शर्मा
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स्मृति -- श्रीराम शर्मा प्रश्न 1: भाई के बुलाने पर लौटते समय लेखक के मन में किस बात का डर था? उत्तर : भाई के बुलाने पर लेखक घर की ओर जा रहा था, परंतु वह मन ही मन बहुत डर भी रहा था। उसे समझ में नहीं आ रहा था कि उससे कौन-सा कसूर हो गया है। उसे आशंका थी कि कहीं बेरी खाने के अपराध में कहीं उसके बड़े भाई से मार न पड़ जाए। प्रश्न 2: मक्खनपुर पढ़ने जाने वाली बच्चों की टोली रास्ते में पड़ने वाले कुएँ में ढेला क्यों फेंकती थी? उत्तरः कुएँ में एक साँप गिर पड़ा था। जब बच्चे कुएँ में ढेला फेंकते थे तो साँप फुँफकार मारता था। उसकी फुँफकार सुनने में बच्चों को बड़ा मजा आता था। इसलिए मक्खनपुर पढ़ने जाने वाली बच्चों की टोली रास्ते में पड़ने वाले कुएँ में ढेला फेंकती थी। प्रश्न 3: "साँप ने फुसकार मारी या नहीं, ढेला उसे लगा या नहीं, यह बात अब तक स्मरण नहीं।" -- यह कथन लेखक की किस मनोदशा को स्पष्ट करता है? उत्तरः यह कथन लेखक की घबराहट और डर की मानसिकता को प्रकट करता है। ढेला फेंकते समय उसकी टोपी में रखी गई चिट्ठियाँ कुएँ में जा गिरी थीं। इसलिए उसका ध्यान साँप को ढेला लगने य...
श्रीमद्भगवद्गीता का प्रथम अध्याय
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श्रीमद्भगवद्गीता का प्रथम अध्याय श्रीमद्भगवद्गीता के प्रथम अध्याय ( अर्जुनविषादयोग ) का प्रथम श्लोक है -- धर्मक्षेत्रे कुरुक्षेत्रे समवेता युयुत्सवः। मामकाः पाण्डवाश्चैव किमकुर्वत संजय।। नीचे इसका अत्यंत विस्तारपूर्वक विश्लेषण किया गया है। इस श्लोक की शब्द-शब्द व्याख्या, ऐतिहासिक और सांस्कृतिक संदर्भ, दार्शनिक और आध्यात्मिक अर्थ, साहित्यिक विशेषताओं, और इसके व्यापक महत्व के साथ विस्तार से समझाया गया है। साथ ही इसकी व्याख्या व्यापक, गहन, और संरचित हो, इस पर भी ध्यान दिया गया है, ताकि आपको श्लोक का हर पहलू स्पष्ट हो। श्लोक का मूल पाठ -- धर्मक्षेत्रे कुरुक्षेत्रे समवेता युयुत्सवः। मामकाः पाण्डवाश्चैव किमकुर्वत संजय।। उच्चारण: Dharma-kshetre kuru-kshetre samaveta yuyutsavah, Mamakaah pandavashchaiva kim akurvata sanjaya. शब्द-शब्द विश्लेषणइस श्लोक को समझने के लिए प्रत्येक शब्द का अर्थ और निहितार्थ महत्वपूर्ण है। नीचे प्रत्येक शब्द का विस्तृत विश्लेषण दिया गया है: धर्मक्षेत्रे (Dharma-kshetre): धर्म: यह संस्कृत शब्द अत्यंत व्यापक अर्थ रखता है। इसका अर्थ है सत्य, नैतिकता, कर...
विराम चिह्न / प्रश्नोत्तर
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विराम चिह्न प्रश्नोत्तर प्रश्न 1: विराम चिन्ह की परिभाषा लिखिए। उत्तर : वाक्य लिखते समय स्पष्ट, अर्थवान एवं भावपूर्ण बनाने के लिए जिन चिह्नों का प्रयोग किया जाता है, उन्हें विराम चिह्न कहा जाता है। प्रश्न 2: कुछ प्रमुख विराम चिह्नों के नामों के विपरीत उनके चिह्न भी लिखिए। उत्तर : (i) पूर्ण विराम चिह्न ------------- । (ii) प्रश्न सूचक चिन्ह ------------------- ? (iii)विस्मयसूचक/संबोधक चिन्ह ---- ! (iv) अल्पविराम चिह्न ------------------ , (v) अर्द्ध विराम चिह्न ------------------- ; (vi) रेखिका/निर्देशक चिह्न ----------- __ (vii) उपविराम/अपूर्ण विराम चिह्न -- : (viii) विवरण चिह्न --------------------- :-- (ix) समासक/योजक चिह्न ----------- - (x) संक्षेपसूचक/लाघव चिह्न ---------- ৹ (xi) अवतरण/उद्बरण चिह्न ------------ '--'/"--" (xii) कोष्ठक चिह्न ----------------------- ( )/{ }/[ ] (xiii) त्रुटिपूरक/हंसपद चिह्न ---------- ^ (xiv) इत्यादि चिन्ह ---------------------- ..... प्रश्न 3: नीचे दिए गए विराम चिह्नों के नामों के विपरीत उ...
स्वर संधि / प्रश्नोत्तर
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स्वर संधि प्रश्नोत्तर प्रश्न 1: संधि किसे कहते हैं? इसके कितने भेद होते हैं? उनके नाम लिखिए। उत्तरः दो निकटवर्ती वर्णों के परस्पर मेल से जो विकार अथवा परिवर्तन होता है, उसे संधि कहते हैं। जैसे -- रवि + इंद्र = रवींद्र महा + ईश = महेश सदा + एव = सदैव आदि। संधि के तीन भेद होते हैं। वे हैं -- ( i) स्वर संधि, (ii) व्यंजन संधि और(iii) विसर्ग संधि प्रश्न 2: स्वर संधि किसे कहते हैं? उदाहरण सहित लिखिए। उत्तरः दो स्वरों के मेल से होने वाले विकार को स्वर संधि कहते हैं। जैसे -- विद्या + अर्थी = विद्यार्थी नर + इंद्र = नरेंद्र देव + ऋषि = देवर्षि प्रश्न 3: स्वर संधि के कितने भेद होते हैं? उनके नाम लिखिए। उत्तरः स्वर संधि के पाँच भेद होते हैं। उनके नाम हैं -- (i) दीर्घ संधि, (ii) गुण संधि, (iii) वृद्धि संधि, (iv) यण संधि और (v) अयादि संधि । प्रश्न 4: दीर्घ संधि किसे कहते हैं? उत्तरः ह्रस्व या दीर्घ अ, इ, उ के बाद यदि ह्रस्व या दीर्घ अ, इ, उ आ जाए तो दोनों मिलकर दीर्घ आ, ई और ऊ बन जाते हैं तो उसे दीर्घ संधि कहते ह...
'क' के बारे में
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'क' के बारे में हिंदी वर्णमाला में "क्" (क) एक महत्वपूर्ण व्यंजन है। इसे क् + अ की ध्वनि के साथ उच्चारित किया जाता है। यहाँ "क" व्यंजन है और "अ" स्वर है। नीचे "क" अक्षर के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई है: 1. उच्चारण और स्थानः उच्चारण : "क" का उच्चारण गले (कंठ) से होता है, इसलिए इसे कंठ्य व्यंजन (गट्टूरल कंसोनेंट) कहते हैं। यह एक स्पर्श व्यंजन है, जिसमें जीभ और तालु का उपयोग होता है। ध्वनि : यह एक अघोष (बिना स्वर तारों के कंपन) और अल्पप्राण (कम हवा के साथ) ध्वनि है। इसका उच्चारण हल्का और स्पष्ट होता है, जैसे "कमल" में। उदाहरण : कमल, किताब, कागज, कविता। 2. हिंदी वर्णमाला में स्थान "क" हिंदी वर्णमाला का पहला व्यंजन है। यह वर्ग (क-वर्ग) का पहला अक्षर है, जिसमें अन्य अक्षर हैं: ख, ग, घ, ङ।इसे क वर्ग का नेतृत्वकर्ता माना जाता है। 3. लेखन और संरचना लिखने का तरीका : "क" को लिखने के लिए पहले एक ऊर्ध्वाधर रेखा खींची जाती है, फिर दाईं ओर एक वक्र बनाया जाता है, जो नीचे की ओर मुड़ता है। यह एक साधारण और...
पद-परिचय / प्रश्नोत्तर
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पद-परिचय प्रश्नोत्तर प्रश्न 1: पद किसे कहते हैं? उत्तर : वाक्य में प्रयुक्त शब्दों को पद कहते हैं। प्रश्न 2: पद परिचय की परिभाषा दीजिए: उत्तर : पदों का व्याकरणिक परिचय देना 'पद परिचय' कहलाता है। प्रश्न 3: हिंदी में पद कितने प्रकार के होते हैं? उनके नाम लिखिए: उत्तर : हिंदी में पद पाँच प्रकार के होते हैं। वे हैं: ( क) संज्ञा (ख) सर्वनाम (ग) विशेषण (घ) क्रिया और (ङ) अव्यय। प्रश्न 4: संज्ञा किसे कहते हैं? इसके कितने भेद हैं? परिभाषा सहित सविस्तार लिखिए: उत्तर : किसी व्यक्ति, वस्तु, स्थान, गुण अथवा भाव के नाम का बोध कराने वाले शब्दों को संज्ञा कहते हैं। जैसे: लड़का चला गया। गाय दूध देती है। अलमारी में कपड़े रखे हैं। राजेश दसवीं कक्षा में पढ़ता है। काठमांडू नेपाल की राजधानी है। साहस को सभी गुणों में सर्वश्रेष्ठ माना जाता है। संज्ञा के ३(तीन) भेद होते हैं। वे हैं--- ( क) जातिवाचक संज्ञा, (ख) व्यक्तिवाचक संज्ञा और (ग) भाववाचक संज्ञा ( क) जातिवाचक संज्ञा : जिस संज्ञा शब्द से किसी जाति की सभी वस्तुओं का अथवा सारी जाति या समुदाय का बोध हो, ...
अलंकार / प्रश्नोत्तर
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अलंकार प्रश्नोत्तर प्रश्न 1: अलंकार किसे कहते हैं? इसके मुख्यतः कितने भेद हैं? उनके नाम लिखिए: उत्तरः काव्य की शोभा या सुंदरता बढ़ाने वाले तत्वों को अलंकार कहते हैं। इसके मुख्यतः दो भेद हैं-- (क) शब्दालंकार और (ख) अर्थालंकार प्रश्न 2: शब्दालंकार किसे कहते हैं? उदाहरण सहित लिखिए: उत्तरः जिस अलंकार में शब्दों के प्रयोग के कारण वाक्य अथवा काव्य में आकर्षण अथवा चमत्कार आ जाता है, उसे शब्दालंकार कहते हैं। जैसे: -- रघुपति राघव राजा राम, -- काली घटा का घमंड घटा -- मंगन को देख पट देत बार-बार प्रश्न 3: कुछ प्रमुख शब्दालंकारों के नाम लिखिए: उत्तरः कुछ प्रमुख शब्दालंकार हैं-- (i) अनुप्रास अलंकार (ii) यमक अलंकार (iii) श्लेष अलंकार (iv) पुनरुक्ति प्रकाश अलंकार (v) वक्रोक्ति अलंकार प्रश्न 4: अर्थालंकार किसे कहते हैं? इसके कुछ प्रमुख भेदों के नाम लिखिए : उत्तरः जब शब्दों के अर्थ से साहित्य अथवा काव्य पंक्तियों में चमत्कार उत्पन्न हो तो उसे अर्थालंकार कहते हैं। अर्थालंकार में अर्थ के कारण काव्य पंक्तियों में आकर्षण पैदा होता है।...