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अनुच्छेद लेखन/कक्षा नौ

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   अनुच्छेद लेखन  1. आलस्य: मनुष्य का सबसे बड़ा शत्रु शारीरिक, मानसिक अथवा तन-मन की उत्साहहीनता, कर्म न करने की प्रवृत्ति, काम को टालने की आदत आदि को आलस्य कहते हैं। आलसी व्यक्ति परिश्रम से हमेशा जी चुराते हैं, आराम से पड़े रहना चाहते है। आलस्य हमारा परम शत्रु है क्योंकि वह सब प्रकार के कष्टों का जनक है। आलस्य हमें दरिद्र बनाता है क्योंकि आलसी व्यक्ति परिश्रम नहीं करता। आलस्य उन्नति तथा प्रगति का बाधक है क्योंकि प्रगति होती है योजनाबद्ध कार्य करने से और आलसी व्यक्ति मानसिक शिथिलता के कारण योजना नहीं बना पाता और शारीरिक शिथिलता के कारण योजना को पूरा नहीं कर पाता। विद्यार्थी आलस के कारण नियमित रूप से अध्ययन नहीं करता और कक्षा में फिसड्डी रह जाता है। वार्षिक  परीक्षा में उत्तीर्ण नहीं हो पाता। सरकारी कार्यालय में काम करने वाला आलसी कर्मचारी ठीक से काम न करने के कारण पदोन्नति नहीं पाता। व्यापारी आलस्य के कारण समय पर खरीदार को अपना माल-सामान नहीं पहुँचाता, इससे उसका काम ठप्प हो जाता है। आलसी व्यक्ति खटिया पर पड़ा आराम करता है या गहरी नींद में सोया रहता है तथा कुम्भकर्ण की संज्ञा पाता है। स्वस

व्याकरण प्रश्नोत्तरी / कक्षा नौ

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  व्याकरण प्रश्नोत्तरी प्रश्न 1: अलंकार किसे कहते हैं? उत्तर: काव्य की सुंदरता बढ़ाने वाले तत्वों को अलंकार कहते हैं। प्रश्न 2: अलंकार पहचानिए: (क) बरसत बारिद बूँद  उत्तरः अनुप्रास अलंकार (ख) तू मोहन के उर बसी ह्वै उरबसी समान  उत्तर: यमक अलंकार (ग) रघुपति राघव राजा राम  उत्तरः अनुप्रास अलंकार  (घ) मैया मैं तो चंद्र खिलौना लैहौं  उत्तरः रूपक अलंकार (ङ) कर कमल-सा कोमल है  उत्तरः उपमा अलंकार (च) जलता है यह जीवन-पतंग  उत्तर: रूपक अलंकार (छ) काली घटा का घमंड घटा  उत्तरः यमक अलंकार (ज) कनक कनक ते सौगुनी मादकता अधिकाय  उत्तरः यमक अलंकार (झ) पीपर पात सरिस मन डोला  उत्तरः उपमा अलंकार (ञ) फूलों-सा चेहरा तेरा कलियों-सी मुस्कान है  उत्तरः उपमा अलंकार प्रश्न 3: अनुप्रास अलंकार किसे कहते हैं?  उत्तरः जहाँ वर्णों की पुनरावृत्ति के कारण काव्य में चमत्कार उत्पन्न हो उसे अनुप्रास अलंकार कहते हैं।  प्रश्न 4: दो शब्दालंकारों के नाम लिखिए।  उत्तरः अनुप्रास अलंकार और यमक अलंकार प्रश्न 5: रूपक अलंकार शब्दालंकार है या अर्थालंकार?  उत्तरः अर्थालंकार प्रश्न 6: पायो री मैंने राम-रतनधन पायो -- अलंकार पहचानिए। उत्

व्याकरण प्रश्नोत्तरी/ कक्षा 10

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  व्याकरण प्रश्नोत्तरी   प्रश्न 1: बात हुई किंतु उसे मना नहीं सका। -- वाक्य पहचानिए: उत्तरः संयुक्त वाक्य प्रश्न 2: संयुक्त वाक्य किसे कहते हैं? उत्तर : जिन वाक्यों में दो या दो से अधिक स्वतंत्र उपवाक्य योजक अथवा समुच्चयबोधक अव्यय से जुड़े होते हैं, वे संयुक्त वाक्य कहलाते हैं। प्रश्न 3: जहाँ से आए थे वहीं चले जाओ । -- रेखांकित उपवाक्य पहचानिए। उत्तर : प्रधान उपवाक्य प्रश्न 4: रात हुई किंतु चाँद नहीं निकला। -- वाक्य पहचानिए। उत्तर : संयुक्त वाक्य प्रश्न 5: यदि मैं न आया होता तो काम न बनता। -- वाक्य पहचानिए। उत्तर: मिश्र वाक्य प्रश्न 6: जहाँ से आए थे वहीं चले जाओ। -- रेखांकित उपवाक्य पहचानिए। उत्तर : आश्रित उपवाक्य प्रश्न 7: सरल वाक्य किसे कहते हैं? उत्तर : जिन वाक्यों में सिर्फ एक ही मुख्य क्रिया हो, उन्हें सरल वाक्य अथवा साधारण वाक्य कहते हैं। प्रश्न 8: संयुक्त वाक्य में संलग्न उपवाक्य किन योजक शब्दों से जुड़े होते हैं?  उत्तरः तथा, और, या, एवं, अथवा, अन्यथा, किंतु, लेकिन, वरना, अतः, इसलिए आदि। प्रश्न 9: मिश्र वाक्य की परिभाषा लिखिए।  उत्तरः जिन वाक्यों में एक से अधिक उपवाक्य होत

पद परिचय (प्रश्नोत्तर)

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  पद परिचय प्रश्न 1: पद किसे कहते हैं? उत्तर : वाक्य में प्रयुक्त शब्दों को  पद  कहते हैं। प्रश्न 2: पद परिचय की परिभाषा दीजिए: उत्तर:  पदों का व्याकरणिक परिचय देना  'पद परिचय'  कहलाता है। प्रश्न 3: हिंदी में पद कितने प्रकार के होते हैं? उनके नाम लिखिए: उत्तर:  हिंदी में पद  पाँच  प्रकार के होते हैं। वे हैं:  (क) संज्ञा (ख) सर्वनाम (ग) विशेषण (घ) क्रिया और  (ङ) अव्यय।  प्रश्न 4: संज्ञा किसे कहते हैं? इसके कितने भेद हैं? परिभाषा सहित सविस्तार लिखिए: उत्तर:  किसी व्यक्ति, वस्तु, स्थान, गुण अथवा भाव के नाम का बोध कराने वाले शब्दों को  संज्ञा  कहते हैं। जैसे:  लड़का  चला गया। गाय   दूध  देती है। अलमारी  में  कपड़े  रखे हैं।  राजेश  दसवीं  कक्षा  में पढ़ता है। काठमांडू   नेपाल  की  राजधानी  है। साहस  को सभी  गुणों  में सर्वश्रेष्ठ माना जाता है। संज्ञा के  ३(तीन ) भेद होते हैं। वे हैं--- (क) जातिवाचक संज्ञा, (ख) व्यक्तिवाचक संज्ञा और  (ग) भाववाचक संज्ञा (क) जातिवाचक संज्ञा : जिस संज्ञा शब्द से किसी जाति की सभी वस्तुओं का अथवा सारी जाति या समुदाय का बोध हो, उसे  जातिवाचक संज्ञा  कहते

अलंकार (कक्षा: दस)

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    अलंकार प्रश्नोत्तर : प्रश्न 1: अलंकार किसे कहते हैं? इसके मुख्यतः कितने भेद हैं? उनके नाम लिखिए: उत्तर : काव्य की शोभा या सुंदरता बढ़ाने वाले तत्वों को अलंकार कहते हैं। इसके मुख्यतः दो भेद हैंं --- (क) शब्दालंकार और (ख) अर्थालंकार प्रश्न 2: शब्दालंकार किसे कहते हैं? उदाहरण सहित लिखिए: उत्तर : जिस अलंकार में शब्दों के प्रयोग के कारण वाक्य अथवा काव्य में आकर्षण अथवा चमत्कार आ जाता है, उसे शब्दालंकार कहते हैं। जैसे: --- रघुपति राघव राजा राम --- काली घटा का घमंड घटा --- मंगन को देखी पट देत बार-बार  प्रश्न 3: कुछ प्रमुख शब्दालंकारों के नाम लिखिए: उत्तर : कुछ प्रमुख शब्दालंकार हैं: (क) अनुप्रास अलंकार, (ख) यमक अलंकार, (ग) श्लेष अलंकार, (घ) पुनरुक्ति प्रकाश अलंकार (ङ) वक्रोक्ति अलंकार आदि। प्रश्न 4: श्लेष अलंकार की परिभाषा उदाहरण सहित समझाइए: उत्तर : ' श्लेष ' शब्द का अर्थ है ' चिपकना '। जहाँ वाक्य में एक शब्द एक ही बार प्रयुक्त होने के बावजूद दो या दो से अधिक अर्थ दे, वहाँ श्लेष अलंकार होता है। जैसे: (क) मंगन को देखी पट देत बार-बार  (पट= दरवाजा, वस्त्र) (ख) को

समास (प्रश्नोत्तर)

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     समास   प्रश्नोत्तर : प्रश्न 1: समास, समस्तपद और समास-विग्रह किसे कहते हैं? समझाइए: उत्तर : दो या दो से अधिक शब्द अथवा शब्द समूहों के मेल से नए शब्द बनाने की क्रिया को समास कहते हैं। इस विधि से बने शब्दों को समस्तपद कहते हैं। जब समस्तपदों को पृथक किया जाता है, उसे समास विग्रह कहते हैं। जैसे: रसोईघर ---- रसोई के लिए घर नवग्रह ------ नौ ग्रहों का समूह त्रिलोचन ---- तीन हैं लोचन जिसके अर्थात शिव हानि-लाभ ---हानि और लाभ महात्मा ------ महान है जो आत्मा प्रश्न 2: समास के कितने भेद हैं? उनके नाम लिखिए: उत्तर : समास के ६ (छह) भेद हैं। उनके नाम हैं: (क) अव्ययीभाव समास, (ख) तत्पुरुष समास, (ग) कर्मधारय समास, (घ) द्विगु समास, (ङ) द्वंद्व समास और  (च) बहुव्रीहि समास प्रश्न 3: अव्ययीभाव समास किसे कहते हैं? उदाहरण सहित समझाइए: उत्तर : जिस समास में समस्तपद का पहला पद अव्यय हो, उसे अव्ययीभाव समास कहते हैं। इसका पहला पद प्रधान होता है। इस प्रक्रिया से बना समस्तपद भी अव्यय की भाँति कार्य करता है। जैसे: (i)    प्रतिदिन ---- प्रत्येक दिन  (ii)    आजन्म ---- जन्म से लेकर  (iii)  आजीवन --- ज

प्रत्यय (प्रश्नोत्तर)

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  प्रत्यय प्रश्न 1: प्रत्यय किसे कहते हैं? उत्तर : जो शब्दांश शब्दों के धातुरूप अथवा मूल शब्दों के अंत में लगकर नए शब्दों का निर्माण करते हैं, उन्हें प्रत्यय कहते हैं। जैसे:  महान+ ता = महान ता  लड़+ आकू= ल ड़ाकू भूल+ ना = भूल ना आदि। प्रश्न 2: प्रत्यय के कितने भेद हैं? उनके नाम लिखिए । उत्तर : प्रत्यय के मुख्यतः दो भेद हैं। वे हैं:  (i) कृत प्रत्यय और (ii) तद्धित प्रत्यय प्रश्न 3: कृत प्रत्यय किसे कहते हैं? उदाहरण सहित समझाइए: उत्तर: जो प्रत्यय क्रिया के मूल धातुरूप के साथ लगकर संज्ञा अथवा विशेषण आदि का निर्माण करते हैं, वे कृत प्रत्यय कहलाते हैं। जैसे:  (i) बोल+आवा= बुलावा   (ii) गा+वैया= गवैया (iii) त्याग+ई= त्यागी (iv) चल+आऊ= चलाऊ  (v) मिल+आप= मिलाप   (vi) भूल+अक्कड़= भुलक्कड़ (vii) खेल+औना= खिलौना (viii) लिख+आवट= लिखावट   (ix) झगड़+आलू= झगड़ालू (x) घबरा+आहट= घबराहट प्रश्न 4: तद्धित प्रत्यय किसे कहते हैं? उदाहरण सहित समझाइए : उत्तर : जो प्रत्यय क्रिया के धातुरूप को छोड़कर अन्य शब्द, जैसे-- संज्ञा, विशेषण, सर्वनाम आदि के साथ लगकर नए शब्दों का निर्माण करते हैं, वे तद्धित प्र

उपसर्ग (प्रश्नोत्तर)

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  उपसर्ग प्रश्न 1: शब्द किसे कहते हैं? उत्तर : वर्ण अथवा अक्षरों के सार्थक समूह को शब्द कहते हैं। जैसे: कमल, भोजन, पिता, देश, विद्यालय, अध्यापक आदि। प्रश्न 2: शब्द निर्माण के तीन प्रकारों के नाम लिखिए: उत्तर :   (i) उपसर्गों के द्वारा शब्द-निर्माण ; जैसे:  अ +शांति = अशांति  अन +आदर= अनादर  (ii) प्रत्ययों के द्वारा शब्द-निर्माण ; जैसे: बल+ वान = बलवान  भारत+ ईय = भारतीय (iii) समास प्रक्रिया द्वारा शब्द-निर्माण ; जैसे: देश के लिए भक्ति= देशभक्ति नीला है जो कमल= नीलकमल पाँच तंत्रों का समाहार= पंचतंत्र प्रश्न 3: उपसर्ग किसे कहते हैं? उदाहरण सहित समझाइए: उत्तर : जो अविकारी शब्दांश किसी शब्द के प्रारंभ में लगकर उसके अर्थ या भाव में बदलाव ला देते हैं, उन्हें उपसर्ग कहते हैं। जैसे: वि +देश= विदेश  परा +जय= पराजय  प्रश्न 4: तत्सम उपसर्ग किसे कहते हैं? उदाहरण सहित समझाइए: उत्तर : संस्कृत से हिंदी भाषा में आए हुए उपसर्गों को तत्सम उपसर्ग कहते हैं। संस्कृत में 22(बाइस) उपसर्ग हैं। इन उपसर्गों से बने अनेक शब्द हिंदी में मिलते हैं। उनमें से कुछ हैं: (i) अति: अतिरिक्त, अत्युत्तम, अत्याचार, अत्

वाच्य/प्रश्नोत्तर

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   वाच्य प्रश्नोत्तर   प्रश्न 1: वाच्य की परिभाषा लिखिए: उत्तर : 'वाच्य' का शाब्दिक अर्थ है-- बोलने का विषय । क्रिया के जिस रूप से यह जाना जाए कि क्रियापद द्वारा किए गए कार्य अथवा कही गई बात का विषय कर्ता है, कर्म है या भाव अथवा क्रिया स्वयं है, उसे वाच्य कहते हैं। जैसे--  --- साहिल पढ़ता है। --- तुलसीदास ने 'रामचरितमानस' की रचना की। --- बालगोबिन भगत कबीर के दोहे गाया करते थे। --- सारिका के द्वारा गीत गाया जाता है। --- दादाजी से रातभर सोया नहीं गया। प्रश्न 2: वाच्य के कितने भेद हैं? उनके नाम लिखिए: उत्तर : हिंदी में वाच्य के तीन भेद होते हैं। वे हैं: (i) कर्तृवाच्य,  (ii) कर्मवाच्य और  (iii) भाववाच्य  प्रश्न 3: कर्तृवाच्य की परिभाषा उदाहरण सहित लिखिए: उत्तर : जिस वाक्य में क्रिया का मुख्य विषय कर्ता होता है, वहाँ कर्तृवाच्य होता है। इस वाच्य में कथन का केंद्र हमेशा कर्ता होता है। जैसे: --- प्रेमचंद उपन्यास लिखते हैं। --- बच्चे रो रहे हैं। --- राहुल क्रिकेट खेलता था। --- राम ने रोटी खाई। --- दिनेश पुस्तक नहीं पढ़ता है। कर्तृवाच्य के वाक्यों की क्रियाएँ अकर्मक और सक

अलंकार/प्रश्नोत्तर (कक्षा 9)

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  अलंकार प्रश्नोत्तर   प्रश्न 1: अलंकार किसे कहते हैं? इसके मुख्यतः कितने भेद हैं? उनके नाम लिखिए:  उत्तरः  काव्य की शोभा या सुंदरता बढ़ाने वाले तत्वों को  अलंकार  कहते हैं। इसके मुख्यतः  दो  भेद हैं-- (क)  शब्दालंकार  और (ख)  अर्थालंकार   प्रश्न 2: शब्दालंकार किसे कहते हैं? उदाहरण सहित लिखिए:  उत्तरः   जिस अलंकार में शब्दों के प्रयोग के कारण वाक्य अथवा काव्य में आकर्षण अथवा चमत्कार आ जाता है, उसे  शब्दालंकार  कहते हैं। जैसे: -- रघुपति राघव राजा राम, -- काली घटा का घमंड घटा -- मंगन को देख पट देत बार-बार  प्रश्न 3: कुछ प्रमुख शब्दालंकारों के नाम लिखिए:  उत्तरः  कुछ प्रमुख शब्दालंकार हैं-- (i)  अनुप्रास  अलंकार  (ii)  यमक  अलंकार (iii)  श्लेष  अलंकार  (iv)  पुनरुक्ति प्रकाश  अलंकार (v)  वक्रोक्ति  अलंकार प्रश्न 4: अनुप्रास अलंकार किसे कहते हैं? उदाहरण सहित लिखिए: उत्तर : जहां वर्ण अथवा व्यंजनों की पुनरावृति के कारण काव्य में चमत्कार अथवा आकर्षण उत्पन्न हो, उसे  अनुप्रास अलंकार  कहते हैं। जैसे-- (i)  र घुपति  रा घव  रा जा  रा म (ii)  का नन  कुं डल  कुं चित  के सा  (iii)  का लिंदी  कू ल  क

अर्थ के आधार पर वाक्य भेद(प्रश्नोत्तर)

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     अर्थ के आधार पर वाक्य भेद प्रश्न 1: वाक्य किसे कहते हैं? उत्तर : सार्थक शब्दों के जिस व्यवस्थित समूह से विचारों की स्पष्ट और पूर्ण अभिव्यक्ति होती है, उसे वाक्य कहते हैं। जैसे-- (i) दो-तीन हफ्तों में ही हमारी परीक्षाएँ शुरू होने जा रही हैं। (ii) ऑनलाइन पढ़ाई करते हुए हमें बहुत मजा आया था। (iii) वे हमारे हिंदी के अध्यापक हैं। (iv) विद्यार्थी गृहकार्य कर रहे हैं। (v) तुम कहाँ रहते हो? प्रश्न 2: अर्थ के आधार पर वाक्य के कितने भेद किए गए हैं? उनके नाम लिखिए: उत्तर : अर्थ के आधार पर वाक्य के आठ भेद किए गए हैं। वे हैं-- (i) कथनात्मक अथवा विधानवाचक वाक्य  (ii) निषेधवाचक अथवा नकारात्मक वाक्य  (iii) आज्ञार्थक अथवा विधिवाचक वाक्य (iv) प्रश्नवाचक वाक्य  (v) इच्छावाचक वाक्य  (vi) संदेहवाचक वाक्य  (vii) विस्मयादिबोधक अथवा मनोवेगात्मक वाक्य और  (viii) संकेतवाचक वाक्य    प्रश्न 3: कथनात्मक वाक्य किसे कहते हैं? उत्तर : जिन वाक्यों से किसी कार्य के करने या होने की सामान्य सूचना मिलती है, उन्हें कथनात्मक, विधानवाचक अथवा रचनात्मक वाक्य कहते हैं। जैसे -- (i) आजकल हमारा देश बहुत तरक्की कर रहा है। (ii)

रचना के आधार पर वाक्य भेद (प्रश्नोत्तर)

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  रचना के आधार पर वाक्य भेद प्रश्नोत्तर : प्रश्न 1: वाक्य किसे कहते हैं? उत्तर : ऐसा व्यवस्थित और सार्थक शब्द समूह जो वक्ता का पूरा आशय स्पष्ट रूप से प्रकट कर सके, वाक्य कहलाता है। जैसे:  -- बालगोबिन भगत मझोले कद के गोरे चिट्टे आदमी थे। -- हालदार साहब पान खाने के लिए हमेशा चौराहे पर रुकते। -- विद्यार्थी आज पिकनिक मनाने पोखरा गए। प्रश्न 2: वाक्यों का विभाजन किन दो आधारों पर किया जाता है?  उत्तर : वाक्यों का विभाजन मुख्यतया निम्नलिखित दो आधारों पर किया जाता है-- (i) रचना के आधार पर और  (ii) अर्थ के आधार पर प्रश्न 3: रचना की दृष्टि से वाक्य के कितने भेद हैं? उनके नाम लिखिए।  उत्तर : रचना की दृष्टि से वाक्य के तीन भेद हैं। वे हैं: (i) सरल अथवा साधारण वाक्य, (ii) संयुक्त वाक्य और  (iii) मिश्र, मिश्रित अथवा जटिल वाक्य प्रश्न 4: सरल वाक्य किसे कहते हैं? उदाहरण सहित समझाइए: उत्तर : जिन वाक्यों में एक ही मुख्य क्रिया हो, उन्हें सरल अथवा साधारण वाक्य कहते हैं। जैसे:   -- भादों महीने में कई बार मूसलधार वर्षा होती है।   -- शाम के समय बच्चे मैदान में खेल रहे थे।   -- मोहन अगले महीने अमेरिका जाएगा।

इस जल प्रलय में(प्रश्नोत्तर)

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   इस जल प्रलय में                    -- फणीश्वरनाथ रेणु प्रश्न 1: बाढ़ की खबर सुनकर लोग किस तरह की तैयारी करने लगे?  उत्तर : बाढ़ की खबर सुनकर लोग अति आवश्यक सामानों को जुटाने में और अपनी सुरक्षा का प्रबंध करने में व्यस्त होने लगे। आवश्यक ईंधन, आलू, मोमबत्ती, दियासलाई, पीने का पानी, दवाइयाँ आदि इकट्ठा करने लगे ताकि बाढ़ से घिर जाने पर भी कुछ दिनों तक आसानी से गुजारा चल सके। प्रश्न 2: बाढ़ की सही जानकारी लेने और बाहर का रूप देखने के लिए लेखक क्यों उत्सुक था? उत्तर : लेखक उसी क्षेत्र के रहने वाले थे, जहाँ बाढ़ग्रस्त लोग शरण लिया करते थे। बीते दिनों में लेखक बाढ़ पीड़ितों की मदद कई तरह से कर चुके थे। उन्होंने बाढ़ देखा तो था, परंतु बाढ़ से घिरने, बहने या खुद भोगने का अनुभव नहीं किया था। वे उसका प्रत्यक्ष अनुभव लेना चाहते थे। इसलिए बाढ़ के संबंध में अपनी जिज्ञासा शांत करने के लिए वे बहुत बेचैन और उत्सुक थे। प्रश्न 3: सबकी ज़बान पर एक ही जिज्ञासा-- 'पानी कहाँ तक आ गया है?' इस कथन से जनसमूह की कौन-सी भावनाएँ व्यक्त होती हैं?  उत्तर : सबके मन में एक ही जिज्ञासा थी-- 'पानी कहाँ तक

माता का अँचल/प्रश्नोत्तर

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      माता का अँचल                   --- शिवपूजन सहाय प्रश्नोत्तर: प्रश्न 1: 'माता का अँचल' पाठ के आधार पर यह कहा जा सकता है कि बच्चे का अपने पिता से अधिक जुड़ाव था, फिर भी विपदा के समय वह पिता के पास न जाकर माँ की शरण लेता है। आपकी समझ से इसकी क्या वजह हो सकती है? उत्तर : अपने पिता से अधिक जुड़ाव होने के बावजूद विपदा के समय भोलानाथ पिता के पास न जाकर माँ की शरण लेता है। इसकी वजह यह हो सकती है कि माँ के आँचल तले एक बच्चे को प्यार और सुरक्षा की जो अनुभूति मिलती है, वह पिता के सान्निध्य में नहीं मिलती। माँ से बच्चों का संबंध बच्चे के जन्म के पूर्व से ही जुड़ा होता है। इसलिए भी संतान की आत्मीयता माँ के साथ अत्यंत गहरी होती है। प्रश्न 2: आपके विचार से भोलानाथ अपने साथियों को देखकर सिसकना क्यों भूल जाता है? उत्तर : भोलानाथ अपने साथियों को देखकर सिसकना भूल जाता है, क्योंकि उसे उनके साथ दिनभर अलग-अलग खेल खेलने और शरारत भरी मस्ती करने का भरपूर आनंद मिलता है। जब भी वह अपने मित्रों को देखता है तो वह अपने पुराने सारे दुख-दर्द भूल जाता है। प्रश्न 3: माँ को बाबूजी के द्वारा बच्चे को खिलाने

ललद्यद के वाख/प्रश्नोत्तर

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  ललद्यद के वाख  प्रश्नोत्तर : प्रश्न 1: ललद्यद की वाख में 'रस्सी' किसके लिए प्रयुक्त हुआ है और वह कैसी है ? उत्तर : ललद्यद की 'वाख' कविता में ‘रस्सी’ शब्द का प्रयोग मनुष्य की ‘साँस’ या ‘प्राण’ के लिए हुआ है, जिसके सहारे मनुष्य अपनी शरीररूपी नाव को खींच रहा है। यह साँस अथवा प्राणरूपी रस्सी बहुत कमजोर है। यह कब टूट जाए अर्थात कब इन्सान की मृत्यु हो जाए, इसका कोई भरोसा नहीं। प्रश्न 2: कवयित्री द्वारा मुक्ति के लिए किए जाने वाले प्रयास व्यर्थ क्यों हो रहे हैं?  उत्तर : कवयित्री इस सांसारिकता के मोह के बंधनों से मुक्त नहीं हो पा रही है। वह प्रभु की भक्ति सच्चे मन से नहीं कर पा रही है। उसे लगता है कि कच्चे, नाशवान और कमजोर शरीर के माध्यम से की जा रही उसकी सारी साधनाएँ व्यर्थ होती जा रही हैं। इसलिए उसके द्वारा मुक्ति के लिए किए जाने वाले सारे प्रयास विफल होते जा रहे हैं। प्रश्न 3: कवयित्री का 'घर जाने की चाह' से क्या तात्पर्य है?  उत्तर : 'घर जाने की चाह' से कवयित्री का तात्पर्य है -- परमात्मा के पास जाना, मोक्ष प्राप्त करना अथवा इस भवसागर से मुक्ति पाकर अपने